इंडस-2 आरऍफ़. प्रणाली

2.5जी.ईवी., 200 मि. एम्प. सिंक्रोत्रोन रेडिएशन सोर्स ‘इंडस-2’ के लिए आरऍफ़. प्रणाली का विकास प्रभाग द्वारा किया गया हैI इस प्रणाली का कार्य इलेक्ट्रान बीम की ऊर्जा को 550 एम.ईवी. से 2.5 जी.ईवी. तक बढ़ाना एवं तत्पश्चात भंडारित बीम की ऊर्जा में सिं.रे. के कारण होने वाले क्षरण की आपूर्ति करना हैI यह प्रणाली 505.812 मेगा हर्त्ज पर 1750 कि.वो. का विभव उत्पन्न करने के लिए विकसित की गयी है जो कि बीम के लिए आवश्यक क्वांटम एवं टाउश्चेक जीवन काल के लिए पर्याप्त हैI इस आरऍफ़. प्रणाली में 1500 कि.वो. का विभव उत्पन्न करने के लिए, 6 इलिप्टीकल आरऍफ़. गुहिकाओं का प्रयोग किया गया हैI इन में से 4 गुहिकाओं को 75 कि.वाट के ठोस-अवस्था प्रवर्धकों के द्वारा तथा बची एक-एक को क्रमशः 60 कि.वाट के क्लाइस्ट्रॉन एवं आई.ओ.टी. तकनीकी पर आधारित प्रवर्धकों के द्वारा ऊर्जित किया गया हैI प्रत्येक आर ऍफ़ स्टेशन इण्टरलॉक यूनिट, डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़, उच्चशक्ति आरऍफ़ प्रवर्धक, ट्रांसमिशन लाइन प्रणाली एवं आरऍफ़ गुहिका से सुसज्जित हैI आरऍफ़ ट्रांसमिशन प्रणाली को नार्मल एटमोस्फियरिक दवाब पर अधिकतम 1.07 वीएसडब्लूआर एवं 0.4 डीबी. से कम इंसर्शन-लौस के 61/8 इंच व्यास की कोअक्षिअल लाइन्स एवं कोअक्षिअल घटकों का प्रयोग कर बनाया गया हैI

अ) क्लाइस्ट्रॉन आरऍफ़. प्रवर्धक

यह क्लाइस्ट्रॉन आरऍफ़. प्रवर्धक 64 कि.वाट, मल्टी-बीम, इंटीग्रल कैविटी विथ डिस्पेंसर टाइप कैथोड- केवाई400 क्लाइस्ट्रॉन पर आधारित हैI क्लाइस्ट्रॉन को 20 कि.वो., 5.5 एम्प. की एचवीडीसी. द्वारा बायस किया जाता है तथा इसके फिलामेंट, आयन पंप, एवं मोड-अनोड की औक्सिलरी पॉवर सप्लाईज 20 कि.वोल्ट पर फ्लोटेड हैंI बीम वोल्टेज पर फ्लोतेद करंट एवं वोल्टेज सिग्नल्स को ऑप्टिकल फाइबर केबल द्वारा इंटरफ़ेस किया जाता हैI वाइड वैरीइंग इनपुट कंडीशन्स एवं संभावित लोड्स की हाई वोल्टेज रिक्वायरमेंट्स को ध्यान में रखकर इन पॉवर सप्लाइज को छह एससीआर पर आधारित थ्री फेज एसी रेगुलेटर स्कीम द्वारा नियंत्रित किया जाता हैI मेन ट्रांसफार्मर की बिना न्यूट्रल की डेल्टा कनेक्टेड प्राइमरी अथवा स्टार कनेक्टेड प्राइमरी का प्रयोग कर लाइन में से तीसरे हार्मोनिक को अवॉयड किया गया हैI इन पॉवर सप्लाइज में प्रयुक्त सेमीकंडक्टर के अधार पर वर्स्ट केस डीआय/डीटी को लिमिट करने, हायर आर्डर मोड्स को लिमिट करने तथा फाल्ट करंट के लेवल को कम करने के लिए प्रत्येक पॉवर सप्लाई यूनिट की प्राइमरी साइड में एक थ्री फेज़ लीनियर इंडक्टर लगाया गया हैI कई एक प्रोटेक्शन सर्किट्स जैसे कि- ओवर वोल्टेज सर्किट, ओवर करंट सर्किट, शंट ट्रिप, फेज़ फेलियर/रिवर्सल सर्किट, स्पार्क एवं आर्क कण्ट्रोल सर्किट, ट्रांसफोर्मर आयल टॉप एवं बॉटम फ्लोट, एससीआर टेम्परेचर हाई, आयल टेम्परेचर हाई इत्यादिI इस पॉवर सप्लाई में इनपुट पॉवर फैक्टर को यूनिटी रखने एवं हर्मोनिक्स को आइईईई स्टैण्डर्ड-519, 1992 द्वारा निर्धारित रेंज में रखने के लिए हार्मोनिक लाइन फ़िल्टर भी लगाया गया हैI सोर्स के साथ पैरेलल रेजोनेंस को अवॉयड करने के लिए फ़िल्टर कंपोनेंट्स को 228 हर्त्ज़ पर ट्यून किया गया हैI किसी आर्किंग की स्थिति में कुछ ही माइक्रोसेकंड्स में ऑपरेट हो जाने वाला क्रोबार प्रोटेक्शन भी क्लाइस्ट्रॉन में लगाया गया हैI क्लाइस्ट्रॉन के अन्दर डिसीपेट होने वाली एनर्जी को 20 जूल के अन्दर लिमिट किया गया हैI

चित्र 3: 60 कि.वाट मल्टी बीम, इंटीग्रल-कैविटी 505.8 मेगाहर्त्ज क्लाइस्ट्रॉन एवं इसकी पॉवर सप्लाई
चित्र 3: 60 कि.वाट मल्टी बीम, इंटीग्रल-कैविटी 505.8 मेगाहर्त्ज क्लाइस्ट्रॉन एवं इसकी पॉवर सप्लाई
चित्र 3: 60 कि.वाट मल्टी बीम, इंटीग्रल-कैविटी 505.8 मेगाहर्त्ज क्लाइस्ट्रॉन एवं इसकी पॉवर सप्लाई

इंडस-2 के लिए आइओटी पर आधारित प्रणाली

फेज्ड आउट हो चुके 60 कि.वाट 505.8 मेगाहर्त्ज क्लाइस्ट्रॉन के विकल्प के रूप में, 60 कि.वाट सीडब्लू E2V मेक आरऍफ़ प्रवर्धक का 505.8 मेगाहर्त्ज पर विकास किया गया एवं इंडस-2 आरऍफ़ सिस्टम में छह में से एक गुहिका को फीड करने के लिए स्थापित किया गयाI कुलमिलाकर 77 डीबी का पॉवर गेन, 60% से अधिक दक्षता एवं 2 मेगाहर्त्ज की 1 डीबी बैंडविड्थ तथा क्रमशः -36 डीबीसी एवं -50 डीबीसी से कम हार्मोनिक एवं नॉन हर्मोनिक स्पुरिअस प्रोवाइड करवाने के लिए 60 कि.वाट के फाइनल पॉवर एम्पलीफायर, 300 वाट के सॉलिड स्टेट ड्राईवर एम्पलीफायर तथा एक 10 वाट के वाइडबैंड प्रीड्राईवर एम्पलीफायर का प्रयोग किया गया हैI आईओटी एम्पलीफायर में प्रयुक्त दूसरे सबसिस्टम्स- पीऍलसी आधारित सिक्वेंसिंग, कण्ट्रोल, मॉनिटरिंग एवं इंटरलॉकिंग सिस्टम, सीपीऍलडी आधारित आरऍफ़. इंटरलॉक सिस्टम, -36 केवी./3 एम्प. एचवी. बीम सप्लाई, 7 वो./25 एम्प. सोलेनोइड सप्लाई, औक्सिलरी डीसी पॉवर सप्लाईज़, वाटर एवं एयर कुलिंग सिस्टम, ड्राईवर एम्पलीफायर हैंI सीपीऍलडी पर आधारित द्रुत आरऍफ़ इंटरलॉकिंग प्रणाली का उपयोग आर ऍफ़ को 100 माइक्रोसेकंड्स में ट्रिप कर उच्च शक्ति आइओटी को आरऍफ़ इनपुट ओवरड्राइव, आइओटी के आउटपुट पोर्ट पर एक्स्सस्सिव लोड वीएसडब्लूआर, आईओटी इंटरनल आर्क, सरक्यूलेटर आर्क से सुरक्षित बनाने के लिए किया गया हैI आइओटी के कैथोड एवं अनोड के मध्य डेंसिटी मोद्युलेतिद बंच्ड इलेक्ट्रान बीम को आवश्यक डीसी बीम पॉवर देने के लिए, 36 कि.वोल्ट/0.5 एम्प. के छः मोड्यूल्स को पैरेलल में मास्टर एवं स्लेव कॉन्फिगरेशन में कनेक्ट किया गया है तथा इनकी स्टेबिलिटी 0.5% से भी बेहतर तथा स्टोर्ड एनर्जी 20 जूल से भी कम हैI ओक्सिलरी पॉवर सप्लाईज़ में, -7 वो./ 25 एम्प. की फिलामेंट सप्लाई, 4.5 कि.वो./10 मि.एम्प. आयन पंप सप्लाई एवं 200 वो. / 100 मि.एम्प. की कण्ट्रोल ग्रिड सप्लाईज़ को 50कि.वो. की हाई वोल्टेज की आइसोलेटेड डेक पर स्थापित किया गया है तथा पीऍलसी सिस्टम के साथ ऑप्टिकल फाएबर केबल के माध्यम से कण्ट्रोल, सिक्वेंसिंग, मॉनिटरिंग तथा इंटरलॉकिंग लॉजिक स्थापित करने के लिए कनेक्ट किया गया हैI आइओटी के आरऍफ़ आउटपुट को इनहाउस डेवलप्ड 61/8 इंच रिजिड कोएक्सिअल लाइन प्रणाली, जिसके कि मुख्य घटक - वाई-जंक्शन कोएक्सिअल सर्क्युलेटर, 50 डीबी डायरेक्शनल कप्लर, 100 कि.वाट डमी लोड, स्ट्रेट सेक्शन एंड बेंड्स इत्यादि हैं, के द्वारा आर ऍफ़ कैविटी से युग्मित कर उसमें प्रवाहित किया गया हैI

टेबल 1: आइओटी के 505 मेगाहेर्त्ज़ पर मेन परफॉरमेंस पैरामीटर्स
क्र.सं. परफॉरमेंस पैरामीटर्स वैल्यू
1.0 मैक्स. आरऍफ़.पॉवर आउटपुट 60 कि.वाट सी.डब्लू.
2.0 पॉवर गेन 22.5 डीबी
3.1 ऑपरेटिंग फ्रीक्वेंसी 505 मेगाहर्त्ज़
3.2 1 डीबी बेंडविड्थ 2 मेगाहेर्त्ज़
4.1 हार्मोनिक डिसटोर्सन < -36 डीबीसी
4.2 नॉन हार्मोनिक स्पुरिऔस आउटपुट < -50 डीबीसी
5.0 एफिशिएंसी ≈60%


चित्र 4: इंडस-2 में स्थापित विभिन्न उप प्रणालियों से बद्ध आइओटी एम्पलीफायर
चित्र 5: सिस्टम से  निबद्ध आइओटी एम्पलीफायर
चित्र 4: इंडस-2 में स्थापित विभिन्न उप प्रणालियों से बद्ध आइओटी एम्पलीफायर
चित्र 5: सिस्टम से निबद्ध आइओटी एम्पलीफायर

इंडस-2 एसआरएस के लिए ठोस-अवस्था आरऍफ़. प्रवर्धक

आरआरकैट ने 505.8 मेगा हर्त्ज पर कुल 240 कि.वाट आरऍफ़ आउटपुट देने वाले चार ठोस-अवस्था आरऍफ़. प्रवर्धकों (60कि.वाट प्रत्येक) का डिज़ाइन एवं विकास किया हैI इन सभी चारों प्रवार्धकों को इंडस-2 एस.आर.एस. में चरणबद्ध तरीके से सफलता पूर्वक स्थापित कर दिया गया हैI ये प्रवर्धक पूरी तरह मोड्यूलर एवं स्केलेबल हैंI इनका विकास मुख्यतः, 500 वाट के बहुत से मोड्यूलर एवं स्केलेबल आरऍफ़. प्रवर्धक मोड्यूल्स, रेडियल पॉवर विभाजक, रेडियल पॉवर संघटक, फेज शिफ्टर्स एवं हाई पॉवर डायरेक्शनल कप्लर्स इत्यादि स्वदेशीय घटकों को कस्टमाइज्ड रेक्स में कनेक्ट कर किया गया हैI इन सभी प्रवर्धकों को सुरक्षा हेतु इंटरलॉक प्रणाली एवं ऍफ़पीजीए पर आधारित डाटा एक्विज़िशन सिस्टम, एवं कूलिंग वाटर के साथ कैविटी से कनेक्ट कर फुल आरऍफ़ पॉवर तक टेस्ट किया गया हैI

चित्र 6: इंडस-2 आरऍफ़ दीर्घा में स्थापित ठोस-अवस्था आरऍफ़ प्रवर्धकों की 10 कि.वाट कैबिनेट
चित्र 6: इंडस-2 आरऍफ़ दीर्घा में स्थापित ठोस-अवस्था आरऍफ़ प्रवर्धकों की 10 कि.वाट कैबिनेट

सॉलिड स्टेट आरएफ एम्प्लीफायरों के लिए 50 वो., 700 एम्प. डीसी पावर सप्लाई

एक 50 वो., 700 एम्प. वोल्टेज विनियमित मॉड्यूलर डीसी पावर सप्लाई का डिज़ाइन और निर्माण स्वदेशीय रूप से इंडस-2 में लगे सॉलिड स्टेट आरऍफ़ एम्प्लीफायरों को शक्ति प्रदान करने के लिए किया गया है। इस पावर सप्लाई की आउटपुट वोल्टेज स्थिरता 0.2% से अच्छी है, आउटपुट वोल्टेज रिपल 0.2% से कम है, दक्षता 90% से बेहतर है और इनपुट पावर फैक्टर 0.98 से अच्छा है। इन 50 वो., 700 एम्प. डीसी पावर सप्लाईयों को इंडस-2 में स्थापित सॉलिड स्टेट आरऍफ़ ऐम्प्लिफ़िएर्स को बायस प्रदान करने हेतु स्थापित किया गया है।

चित्र 7 : 50 वो., 700 एम्प. डीसी पावर सप्लाई का छाया चित्र
चित्र 7 : 50 वो., 700 एम्प. डीसी पावर सप्लाई का छाया चित्र

इंडस-2 के लिए डिजिटल निम्नतल RF नियंत्रण प्रणाली

प्रत्येक आरऍफ़ स्टेशन में ऍलऍलआरऍफ़ कण्ट्रोल प्रणाली को स्थापित किया गया है ताकि कैविटी में आरऍफ़ फील्ड के आयाम और फेस (कला) को स्थिर रखा जा सके। पहले इंडस-2 की ऍलऍलआरऍफ़ प्रणाली एनालॉग तकनीक पर आधारित थीI डिजिटल सिस्टम में अंतर्निहित लाभों मसलन- आसान परिवर्तनशीलता, अनुकूलनशीलता, अच्छी पुनरावृत्ति और न्यून कालावधि प्रवाह त्रुटि इत्यादि को हासिल करने के लिए छहों आरऍफ़ स्टेशन्स में डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़ कण्ट्रोल प्रणालियों को स्थापित किया गया हैI इस विकास के अंतर्गत ऍफ़पीजीए पर आधारित डिजिटल सिग्नल प्रोसेसिंग, आरऍफ़ सिग्नल प्रोसेसिंग और तीव्र फीडबैक नियंत्रण प्रणाली की नवीनतम तकनीकों का उपयोग शामिल है। आरऍफ़ सिग्नल प्रोसेसिंग इकाई को निम्नरूपांतरण, समकालिक क्लॉक उत्पन्न करने और आरऍफ़ सिग्नल के आयाम और फेस (कला) को स्थिर रखने के लिए विकसित किया गया है। वीएचडीऍल और लैबव्यू में तैयार उपयुक्त कोड के साथ ऍफ़पीजीए का उपयोग करके डिजिटल फीडबैक नियंत्रक तैयार किया गया है। लैब में डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़ प्रणाली का परीक्षण और गुणवत्ता संवर्धन के लिए एक वास्तविक समय आधारित आरऍफ़ केविटी सिम्युलेटर विकसित किया गया है। डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़ प्रणालीया क्रमशः 0.5% और 0.5° के आयाम और फेस (कला) स्थिरता के साथ 20 डीबी की गतिशील सीमा और 360° फेस (कला) सुधार प्रदान करते हैं। एक स्टेशन के आवृत्ति ट्यूनिंग लूप को पीऍलसी आधारित आरऍफ़ कैविटी ट्यूनिंग और शक्ति निगरानी प्रणाली स्थापित करके उन्नत किया गया है। प्रत्येक आरऍफ़ स्टेशन में उपस्थित इंटरलॉक इकाई, कीमती आरएफ घटकों और मनुष्यों को सुरक्षा प्रदान करती है। स्टेशन # 5 एवं 6 की आवश्यकताओं की पूर्ति हेतु एक 32 यू की कैबिनेट में कॉम्पैक्ट ऍफ़पीजीए पर आधारित डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़ प्रणाली को विकसित किया गया हैI इस कैबिनेट में 3यू ऊंचाई की दो आरऍफ़ प्रोसेसिंग इकाइयाँ हैंI डिजिटल अल्गोरिथम के इम्प्लीमेंटेशन के लिए दो हाई स्पीड एडीसी एवं डीएसी वाले दो ऍफ़पीजीए कार्ड एक ही पीएक्सआइई चेसिस में प्रयोग किये गए हैI लोकल पेनल के तौर पर इम्पोर्टेंट पैरामीटर्स की मॉनिटरिंग और कंट्रोल्स के लिए लैबव्यू पर आधारित जीयूआइ विकसित की गयी हैI

चित्र 8: एक डीऍलऍलआरऍफ़ कैबिनेट के द्रश्य के साथ इंडस-2 में स्थित डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़ प्रणाली
चित्र 8: एक डीऍलऍलआरऍफ़ कैबिनेट के द्रश्य के साथ इंडस-2 में स्थित डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़ प्रणाली
चित्र 8: एक डीऍलऍलआरऍफ़ कैबिनेट के द्रश्य के साथ इंडस-2 में स्थित डिजिटल ऍलऍलआरऍफ़ प्रणाली
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